अजमेर। पहली बार सीएम वसुंधरा राजे ने जनता को धौलपुर चुनाव में माईबाप समझा। पहली बार महल के दरवाजे जनता के लिए खोले गए। जाति समाज के लोगों को बरगलाया गया। यह कहना है पूर्व सीएम अशोक गहलोत का। गहलोत ने प्रदेश में कानून व्यवस्था की स्थिती को कमजोर बताया। बहरोड़ में युवक की हत्या के मामले में गृहमंत्री के बयान को अजीब और केंद्रीय अल्पसंख्यक मामलात मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी के पार्लियामेंट में दिए बयान को झूठा बताया। गहलोत ने कहा कि देश में धर्म के नाम पर जो लोग गुस्सा कर रहे हैं, उससे आने वाले समय में देश के लिए अच्छे संकेत नहीं है। मोदी ने कहा था कि नोटबन्दी के बाद पत्थरबाजी की घटना नहीं होगी। नोटबन्दी को गरीब और अमीर की लड़ाई बताकर दोनों वर्गों को गुमराह किया और अब वर्ग संघर्ष की स्थिति पैदा कर दी है। कांग्रेस पार्टी को छोड़कर भाजपा में जा रहे यह लोगो को स्वार्थी और मौका परस्त बताते हुए गहलोत ने कहा कि ऐसे लोगों की पार्टी विचारधारा में कोई निष्ठा नहीं होती। उन्होंने कहा कि भाजपा नेता देश से कांग्रेस मुक्त होने की बात कर रहे हैं, मगर असल में भाजपा का कांग्रेसीकरण हो रहा है।
शिक्षा राज्यमंत्री वासुदेव देवनानी के ब्राह्मण समाज के खिलाफ दिए बयानों पर गहलोत ने कहा कि शिक्षा राज्यमंत्री होकर ऐसे बयान देना अशोभनीय है। सीएम वसुंधरा राजे को देवनानी का इस्तीफा मांग लेना चाहिए।