केकड़ी पालिकाध्यक्ष अनिल मित्तल निलंबित

डीएलबी ने जारी किए आदेश. पद के दुरुपयोग के मामले में किया गया निलंबन
उपाध्यक्ष मनोज चौधरी संभालेगी कार्यवाहक अध्यक्ष का पद या सरकार करेगी नए पालिकाध्यक्ष की नियुक्ति ? कुर्सी पर कइयों की निगाह

राज्य के स्वायत्त शासन विभाग ने केकड़ी नगर पालिका के अध्यक्ष अनिल मित्तल को पद का दुरूपयोग करने के मामले में निलंबित कर दिया है। निलंबन की जानकारी मिलने के बाद से ही नगर पालिका कर्मचारियों में हड़कंप मच गया है वहीं शहर व क्षेत्र में यह जानकारी आग की तरह फैल गई है। भाजपा के पालिकाध्यक्ष पर निलंबन की कार्यवाही के बाद किसी भाजपाई की उनके पक्ष में प्रतिक्रिया नहीं आना भी चर्चा का विषय बन गया है। उल्लेखनीय है कि पालिकाध्यक्ष मित्तल पर कई गम्भीर आरोप थे। आरोपों की विभागीय जांच में उन्हें दोषी पाया गया है। मैने गत सप्ताह ही अपने ब्लॉग में उनके निलंबन के संकेत दे दिए थे कि कभी भी मित्तल को निलंबित किया जा सकता है। स्वायत्त शासन विभाग ने निलंबन की कार्यवाही करते हुए फिलहाल किसी पार्षद को कार्यवाहक पालिकाध्यक्ष की नियुक्ति नहीं की है। माना जा रहा है कि पालिका उपाध्यक्ष मनोज चौधरी सोमवार को नियमानुसार कार्यवाहक पालिकाध्यक्ष के रूप में कार्यभार ग्रहण कर सकती है। वहीं सूत्रों के अनुसार राज्य सरकार किसी पार्षद को कार्यवाहक अध्यक्ष के रूप में नियुक्त कर सकती है। पालिकाध्यक्ष मित्तल के निलंबन के बाद निकट भविष्य में निवर्तमान अधिशाषी अधिकारी भरतलाल मीणा व अन्य कुछ कर्मचारियों पर भी गाज गिरने के संकेत मिले हैं। उल्लेखनीय है कि राज्य सरकार ने पालिका अध्यक्ष अनिल मित्तल की विभिन्न वित्तीय अनियमितताओं, गड़बड़ियों, अतिक्रमणों, पालिका की भूमियों के अवैध बेचान, फिजूल खर्ची व अन्य आरोपों की शिकायत पर जांच कराई थी जिसमें पालिकाध्यक्ष को प्रथम दृष्टया दोषी करार दिया गया। करीब एक माह पहले राज्य के स्वायत्त शासन विभाग के निदेशक पवन अरोड़ा ने पालिकाध्यक्ष को नगर पालिका अधिनियम 2009 की धारा 39 के तहत एक नोटिस थमाकर आरोपों में दोषी मानते हुए 15 दिन में जवाब मांगकर अपना पक्ष देने को कहा था। जानकारों के अनुसार धारा 39 के तहत नोटिस देना निलंबन की कार्यवाही के संकेत बताये जा रहे थे। नगरपालिका में व्याप्त कथित भ्रष्टाचार, वित्तीय अनियमितताओं, गड़बड़ियों, अतिक्रमण जैसे कई गम्भीर आरोप लगाते हुए केकड़ी नगर विकास समिति के अध्यक्ष मोडसिंह राणावत, महामंत्री पवनसिंह भाटी, उप महामंत्री विष्णु कुमार साहू ने गत वर्षों स्वायत्त शासन विभाग व भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो में शिकायत की थी वहीं कई गम्भीर मामलो की शिकायत प्रतिपक्ष नेता आसिफ हुसैन ने डीएलबी को की थी जिस पर अब जाकर कार्यवाही हुई है। गौरतलब है कि नगर विकास समिति के पदाधिकारी पालिका अध्यक्ष मित्तल के खिलाफ पद के दुरूपयोग व अनियमितताओं की शिकायत 2016-17 से निरंतर करते आ रहे हैं लेकिन केकड़ी में भाजपा का बोर्ड होने की वजह से तत्कालीन भाजपा सरकार ने शिकायतों पर कोई गौर नहीं किया। तत्कालीन भाजपा विधायक शत्रुघ्न ने भी पालिका में चल रही मनमानी को रोकने के प्रयास नहीं किये उल्टे उन्होंने शिकायतों पर सरकार से कार्यवाही रुकवाई। खैर जो भी हो अब तो सभी अटकलों पर विराम लगाते हुए डीएलबी ने पालिकाध्यक्ष अनिल मित्तल को निलंबित कर दिया है। वहीं अब पालिका के अधिकारी व कर्मचारियों पर निलंबन की तलवार लटकी है वो कभी भी वार कर सकती है। सुनने में आ रहा है कि पालिकाध्यक्ष मित्तल अपने ऊपर निलंबन की कार्यवाही के बाद न्यायालय का दरवाजा खटखटाने का मानस बना रहे हैं हालांकि उनपर निलंबन की कार्यवाही के संकेत मिलने के बाद से ही वे न्यायालय में जाने की तैयारी में लग गए थे। सूत्रों का कहना है कि पालिकाध्यक्ष पर इस कार्यवाही के तुरंत बाद अब शीघ्र ही दूसरा व तीसरा आरोप पत्र थमाया जा सकता है वहीं भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो द्वारा उनके यहां विचाराधीन मामलों में मुकदमा भी दर्ज किया जा सकता है।

तिलक माथुर
*9251022331*

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