विदिषा। स्थानीय सत्संग भवन में जारी श्रीमद् भागवत कथा के सप्तम तथा समापन दिवस आज शनिवार को वेदाचार्य पं. केषव कृष्ण शास्त्री ने भगवान श्री कृष्ण और सुदामाजी की मित्रता पर अपने प्रवचन केन्द्रित रखे। उन्होंने कहा कि महाराजा और रंक विप्र की यह कथा परमेष्वर की परम दयालुता का प्रमाण है। उन्होंने कथा सम्पन्नता पर कहा कि इसे शुभारंभ मानकर कथा को अपने जीवन में उतारना चाहिए। इस अवसर पर श्रद्धालु श्रोताओं ने श्री राधाकृष्ण भगवान की पूजा-अर्चना, वन्दना-आराधना तथा आरती की। कथा आयोजकों की ओर से इस अवसर पर प्रवचनकर्ता वेदाचार्य पं. केषव कृष्ण शास्त्री तथा उनके गुरूदेव सहित समस्त सहयोगियों, विषेष रूप से कथा श्रवणकर्ता श्रद्धालुओं के प्रति आभार प्रदर्षन किया गया। श्रद्धालुओं ने पं. शास्त्री से पुनः विदिषा में कथा करने का आग्रह भी किया।
पं.गोविन्द शर्मा