निमाड़ की लोक सुरभि श्रीमती पूर्णिमा चतुर्वेदी भेराजी सम्मान से अलंकृत

मालवा लोक – कला एवम संस्कृति संस्थान उज्जैन के तारतम्य में लोक की सुरभि को महकाने वाला 32 वाँ “भेराजी सम्मान ” 18 अप्रेल 19 को कालिदास परिसर के अभिरंग सभागृह में समारोह पूर्वक संपन्न हुआ जिसमें मालव माटी के लोक भाषा विद श्री नरेन्द्र श्रीवास्तव नवनीत जी को एवम निमाड़ की लोक-गायिका ,भित्ति चित्रकार बहन पूर्णिमा चतुर्वेदी को भेराजी सम्मान से अलंकृत किया गया ।
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि लोक संस्कृति विद श्री वसन्त निर्गुणे जी ने भेराजी की स्मृतियों के झरोखों से आकाशवाणी युग को याद किया ।
विशेष अतिथि पद से सिने कलाकार श्री लिलिपुट ने कहा कि काम कोई छोटा नहीं होता , उन्होंने कलाक्षेत्र के अनेक संस्मरण सुनाए। सम्मान से अलंकृत नवनीत जी ने जहाँ मालवी भाषा की रचनाओ से सभागृह को रससिक्त किया वहीं बहन पूर्णिमा चतुर्वेदी ने निमाड़ी लोकगीतों से लोक -संस्कृति के इस मांडवे को बधाओं के
मधुर रस से आकंठ भर दिया।
चौदहवीं के चाँद की वासन्ती चाँदनी में समारोह के अध्यक्ष प्रो शैलेंद्रकुमार शर्मा ने मालवी लोक भाषा मे अपना उद्बोधन देकर लोक -संस्कृति के इस अनूठे आयोजन का शिखर कलश रखा। उन्होंने स्व कैलाश वर्मा जी एवम जयेश जी की परम्परा इस लोक परम्परा की भूरि भूरि प्रशंषा की ।
कार्यक्रम का संचालन व्यंग्यकार श्री हरिशकुमार सिंह ने किया । आभार जयेश कैलाश वर्मा भेराजी ने माना ।
कार्यक्रम का आरम्भ कबीर पंथी गांगुलिया की वन्दनाओं से हुआ ।।
सुश्री प्रतिभा रघुवंशी द्वारा सांस्कृतिक नृत्यों की प्रस्तुति दी।। स्वागत भाषण प्रो श्रीराम दवे ने दिया। उज्जयनी के साहित्यिक एवम सांस्कृतिक संस्थाओं के प्रतिनिधियों में सर्वश्री , डॉ राजेश रावल ,सन्दीप सृजन , पिलकेन्द्र अरोरा , अशोक वक़्त , अक्षय चवरे ,,,,,आदि के साथ साथ अभिरंग समारोह खचाखच स्वजनों के साथ गदगद था।।।

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