गुर्जरों व आर्थिक रूप से पिछड़े लोगों को आरक्षण देने संबंधी राजस्थान सरकार फैसले को पलटते हुए हाई कोर्ट ने इस पर अगली सुनवाई तक रोक लगा दी है।
कुछ छात्रों के पत्र पर संज्ञान लेते हुए हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश जगदीश भल्ला और न्यायाधीश भंडारी मोंडे की अध्यक्षता वाली खंडपीठ ने मंगलवार को अपने आदेश में कहा कि आरक्षण के संबंध में सुप्रीम कोर्ट
के आदेश को ध्यान में रखते हुए राज्य सरकार द्वारा गुर्जर समुदाय और आर्थिक रूप से पिछड़ों को
दिया गया आरक्षण निर्धारित कानूनी प्रावधानों के अनुरूप नहीं लगता। लिहाजा इस पर तत्काल रोक लगाई जाए।न्यायालय ने इस मामले में प्रदेश सरकार को नोटिस जारी कर 15 दिनों में जवाब देने को कहा है।
गौरतलब है कि राज्य सरकार ने पिछले साल जुलाई में गुर्जरों को 5 और आर्थिक रूप से पिछड़ों को 14 फीसद आरक्षण देने वाला विधेयक पारित किया था। इससे राज्य में नौकरियों और शिक्षण संस्थानों में कुल आरक्षण 68 फीसद हो गया है जबकि सुप्रीम कोर्ट के निर्देशानुसार राज्य में 50 फीसद से ज्यादा आरक्षण नहीं दिया जा सकता है।