मंगल पर उपग्रह भेजने की तैयारी, मिशन को कैबिनेट की मंजूरी

चंद्रयान मिशन की कामयाबी को देखते हुए केंद्रीय मंत्रिमंडल ने अगले साल मंगल ग्रह के लिए एक उपग्रह को रवाना करने को हरी झंडी दे दी है। सूत्रों ने कहा कि प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की अध्यक्षता में हुई मंत्रिमंडल की बैठक में लाल ग्रह के अध्ययन के लिए मंगल ग्रह की कक्षा में उपग्रह को भेजने के अंतरिक्ष विभाग के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई।

भारतीय अंतरिक्ष शोध संगठन (इसरो) के अगले साल नवंबर में 25 किलो वाले साइंटिफिक पैलोड के साथ एक मार्स आर्बिटर को भेजने की उम्मीद है। मार्स मिशन इसरो के वारहार्स रॉकेट (पीएसएलवी) के विस्तारित संस्करण से रवाना किया जाएगा।

मार्स आर्बिटर अपने ग्रह के वातावरण का अध्ययन करेगा। इसरो यदि मार्स मिशन को अगले साल रवाना करने में विफल रहता तो अगला मौका 2016 और 2018 में मिलेगा। आर्बिटर मंगल ग्रह के चारों ओर करीब 500 गुणा 80 हजार किमी की परिधि में चक्कर लगाएगा। यह आर्बिटर मंगल ग्रह के वातावरण जियोलॉजी, उत्पत्ति, विकास और वहां पर जीवन की संभावनाओं का पता लगाएगा।

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