मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में राज्य मंत्रिमण्डल की बैठक

gehlot1जयपुर। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की अध्यक्षता में बुधवार देर सायं मुख्यमंत्री कार्यालय में सम्पन्न राज्य मंत्रिमण्डल की बैठक में राजस्थान सहकारी सोसायटी अधिनियम, 2001 में संशोधन करने, ग्रामीण विकास एवं चायतीराज संस्थाओं के लिये नवसृजित कनिष्ठ अभियन्ता तथा अन्य पदों पर भर्ती के लिये अधिकतम आयु सीमा में शिथिलता आदि के लिये राजस्थान ग्रामीण विकास एवं पंचायतीराज राज्य एवं अधीनस्थ सेवा नियम, 1998 में संशोधन की मंजूरी देने के साथ ही जवाई बांध कन्जर्वेशन रिजर्व घोषित किये जाने के प्रस्ताव पर भी सहमति दी है। मंत्रिमण्डल द्वारा राजस्थान सहकारी सोसायटी अधिनियम, 2001 में संशोधन किये जाने संबंधीप्रस्ताव के साथ इस संदर्भ में लाये जाने वाले विधेयक के प्रारूप को मंजूरी दी है। राज्य के सहकारीअधिनियम को संविधान के 97वें संशोधन अधिनियम, 2011 के अनुरूप बनाने के लिए राज्य विधानसभा के बजट सत्रा में विधेयक पेश किया जायेगा। इससे सहकारिता आंदोलन को मजबूती मिलेगी।

बैठक में राजस्थान ग्रामीण विकास एवं पंचायतीराज राज्य एवं अधीनस्थ सेवा नियम, 1998 मेंसंशोधन की मंजूरी दी गई। इसके तहत कनिष्ठ अभियन्ता, सहायक कार्यक्रम अधिकारी, कम्प्यूटर अनुदेशक (पंचायतीराज), अकाउन्ट्स असिस्टेंट, कार्डिनेटर ट्रेनिंग, आईईसी एवं कोर्डिनेटर सुपरविजन के पदों पर महात्मा गांधी नरेगा अथवा ग्रामीण विकास एवं पंचायतीराज विभाग की अन्य योजनाओं में  समान पदों पर संविदा आधारित (प्लेसमेन्ट एजेन्सी से नियोजित के अलावा) कार्य करने वाले कार्मिकों को व्यतीत सेवा अवधि के बराबर आयु में छूट का प्रावधान नियमों में किया जा सकेगा। मंत्रिमण्डल ने जवाई बांध कन्जर्वेशन रिजर्व घोषित किये जाने के प्रस्ताव को भी मंजूरी दी है। प्रस्तावित रिजर्व क्षेत्रा में समृद्ध वन एवं वन्यजीव सम्पदा है। क्षेत्रा में वन्यजीवों की काफी प्रजातियां पाई जाती हैं, जिनमें से कुछ दुर्लभ प्रजातियां भी है। कन्जर्वेशन घोषित होने पर इसका प्रबन्धन इस क्षेत्रा में आने वाली ग्राम पंचायतों के प्रतिनिधियों को सम्मिलित करते हुए एक समिति की सहायता से किया जायेगा जिससे वन्यजीव संरक्षण में स्थानीय लोगों की सहभागिता बढ़ेगी। साथ ही, इस क्षेत्रा के विकास के लिये केन्द्रीय प्रवर्तित योजना के अन्तर्गत सौ प्रतिशत केन्द्रीय सहायता प्राप्त हो सकेगी, जिससे इस क्षेत्रा में पारिस्थितिकी पर्यटन को भी बढ़ावा मिलेगा। बैठक में इस संबंध में जारी की जाने वाली अधिसूचना का भी अनुमोदन किया गया है।

मुख्यमंत्री ने रिफायनरी के लिए प्रोत्साहन पैकेज की सैद्धांतिक मंजूरी दी

जयपुर। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने प्रदेश में रिफायनरी की स्थापना के लिए एचपीसीएल को उनके द्वारा चाहे गए 3376 करोड़ रूपये के वार्षिक वित्तीय प्रोत्साहन पैकेज की सैद्धांतिक मंजूरी दे दी है। यह पैकेज एचपीसीएल द्वारा वाणिज्यिक उत्पादन प्रारंभ करने के वर्ष से 15 वर्ष की अवधि के लिए होगा।
मुख्यमंत्राी श्री अशोक गहलोत ने इस संबंध में आज केन्द्रीय पेट्रोलियम मंत्राी श्री वीरप्पा मोइली से फोन पर चर्चा करने के पश्चात् लिखे अपने पत्रा में कहा है कि राजस्थान सरकार ने इस परियोजना को व्यावहारिक बनाने के लिए वांछित गेप फंडिंग के लिए राज्य के व्यापक हित में यह ऐसा फैसला किया है जो मील का पत्थर साबित होगा।

गहलोत ने  मोइली से अनुरोध किया है कि वे एचपीसीएल को अब निर्देश

प्रदान करें कि राजस्थान में रिफायनरी परियोजना को वे शीघ्र मंजूरी प्रदान करें। इसकी औपचारिक मंजूरी से राजस्थान वासियों की लंबे अरसे से चली आ रही जायज अपेक्षाएं पूरी होंगी वहीं उनका सपना साकार हो सकेगा। मुख्यमंत्राी ने यह भी अनुरोध किया है कि केन्द्रीय पेट्रोलियम एवं गैस मंत्रालय से
अन्य आवश्यक स्वीकृतियां भी तुरंत जारी की जाएं ताकि जल्दी से जल्दी राजस्थान रिफायनरी परियोजना का कार्य आरंभ किया जा सके। गहलोत ने श्री मोइली को लिखा है कि ऐसे निर्णायक मोड पर उनके सहयोग से राज्य में रिफायनरी स्थापित करने का राजस्थान वासियों का वर्षों पुराना सपना मूर्त
रूप ले पाएगा।

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