शेयर बाजारों में लगातार दूसरे हफ्ते तेजी

मुंबई। शेयर बाजारों में लगातार दूसरे सप्ताह तेजी रही। बंबई स्टॉक एक्सचेंज [बीएसई] का 30 शेयरों वाला संवेदी सूचकांक सेंसेक्स आलोच्य अवधि में 2.09 फीसद या 359.81 अंकों की तेजी के साथ 17,557.74 पर बंद हुआ।

सेंसेक्स पिछले सप्ताह 2.13 फीसद या 358.74 अंकों की तेजी के साथ शुक्रवार को 17,197.93 पर बंद हुआ था।

नेशनल स्टॉक एक्सचेंज [एनएसई] का 50 शेयरों वाला संवेदी सूचकांक निफ्टी आलोच्य सप्ताह में 2.00 फीसद या 104.70 अंकों की तेजी के साथ 5,320.40 पर बंद हुआ।

पिछले सप्ताह निफ्टी 2.27 फीसद या 115.85 अंकों की तेजी के साथ शुक्रवार को 5,215.70 पर बंद हुआ था। आलोच्य अवधि में बीएसई के मिडकैप और स्मॉलकैप सूचकांकों में मामूली तेजी रही। मिडकैप 0.45 फीसद या 27.08 अंकों की तेजी के साथ 6,099.61 पर बंद हुआ। पिछले सप्ताह मिडकैप में 3.14 फीसद तेजी रही थी।

बीएसई का स्मॉलकैप 0.06 फीसद या 4.07 अंकों की तेजी के साथ 6,549.77 पर बंद हुआ। पिछले सप्ताह स्मॉलकैप में 2.96 फीसद की तेजी रही थी।

गत सप्ताह सेंसेक्स में तेजी में रहने वाले प्रमुख शेयरों में रहे स्टरलाइट इंडस्ट्रीज [8.77 फीसद], महिंद्रा एंड महिंद्रा [7.77 फीसद], हिंदुस्तान युनिलीवर [6.54 फीसद], रिलायंस इंडस्ट्रीज [5.27 फीसद] और हिंडाल्को इंडस्ट्रीज [5.23 फीसद]।

सेंसेक्स में इस सप्ताह गिरावट में रहने वाले शेयरों में प्रमुख रहे भारती एयरटेल [13.73 फीसद], भारतीय स्टेट बैंक [5.86 फीसद], हीरो मोटोकॉर्प [2.28 फीसद], डॉ. रेड्डीज लैब [1.56 फीसद] और एचडीएफसी [1.32 फीसद]।

गत सप्ताह बीएसई के 13 में से 11 सेक्टरों में तेजी रही। वाहन [3.86 फीसद], सूचना प्रौद्योगिकी [3.56 फीसद], धातु [3.12 फीसद], तेज खपत वाली उपभोक्ता वस्तु [2.85 फीसद] और तेल एवं गैस [2.51 फीसद] में सर्वाधिक तेजी रही।

बीएसई के दो सेक्टरों उपभोक्ता टिकाऊ वस्तु [1.80 फीसद] और रियल्टी [0.25 फीसद] में गिरावट रही। इस सप्ताह के महत्वपूर्ण घटनाक्रमों में सोमवार को केंद्रीय वित्त मंत्री पी. चिदंबरम ने कहा कि निवेशकों की अपेक्षाओं के मुताबिक सरकार आर्थिक नीतियों में संशोधन करेगी, वित्तीय घाटा कम करेगी और विकास में तेजी लाएगी।

उन्होंने कहा कि हम संभावित निवेशकों से अपनी नीतियों के बारे में बेहतर संवाद बनाएंगे। हमारा लक्ष्य भारत में कारोबार की राह में समझी जाने वाली बाधाओं को हटाना होगा, इसके तहत अनुचित नियमों के बोझ का डर भी शामिल है।

चिदंबरम ने कहा कि विशाल नकदी भंडार वाली भारतीय कंपनियों को निवेश शुरू करने के लिए प्रोत्साहित करना होगा और विदेशी निवेश संवर्धन बोर्ड के पास आए प्रस्तावों पर तेजी से फैसला लेना होगा।

 

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