दरियादिली से कोरोना से मुकाबला कैसे होगा?

ओम माथुर
लाक डाउन-2 में इतनी छूट मिलने के बाद लगता नहीं है लाक डाउन-3 लगा,तो कोरोना से लडाई में कोई फायदा होगा। कोरोना की रफ्तार के बीच काम-धंधों के लिए रियायतें अजीब विरोधाभास है। लगता है सरकार खुद कनफ्यूज है कि करना क्या है?
जब पता है कि संक्रमण लोगों के ज्यादा जुटने से होता है,तो फिर लाकडाउन 2 में इतनी दरियादिली क्यों दिखाई? फैकि्ट्रयां शुरू। मनरेगा शुरू। अनाज- सब्जी मंडियां शुरू। ईट भट्टे शुरू। दुकानें खुलना शुरू। विद्यार्थियों व मजदूरों की घर वापसी। दफ्तर शुरू। सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उडाती तस्वीरें रोजाना देशभर से आती है। लोग मानने को तैयार नहीं है। यानि लाकडाउन -1 में जो हासिल किया था,उसमें से बहुत कुछ लाकडाउन 2 में गंवा दिया। इसीलिए कोरोना का कहर दूसरे लाकडाउन में ज्यादा फैला। ऐसे में तीसरा लाकडाउन लगा और हालात यही रहे,तो फायदा क्या होगा?
इधर जैसे-जैसे देश में कोरोना की जांच का दायरा बढ़ रहा है,वैसे-वैसे मरीजों की संख्या भी बढ़ रही है। यानी अभी ये कहा नहीं जा सकता कि कोरोना भारत में उतार पर है या विस्फोट की ओर। ऐसे में लाकडाउन को आगे तो बढाना होगा,लेकिन सरकार को दरियादिली की जगह सख्ती ही करनी होगी।

ओम माथुर/9351415379

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